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उत्तराखण्ड

वीडियों कॉन्फ्रेसिंग के माध्यम से प्रमुख सचिव द्वारा कुमाऊॅ मण्डल से गढ़वाल को जोड़े जाने वाले पृथक सम्पर्क मार्गो, रोपवे निर्माण पर चर्चा की गई।

हल्द्वानी
मानसखण्ड कॉरिडोर कुमाऊॅ को गढ़वाल से जोड़ने वाले सम्पर्क एवं पृथक मार्गो के अलावा रोपवे निर्माण व धार्मिक व पर्यटन स्थलों के संबंध में देहरादून से प्रमुख सचिव लोनिवि आरके सुधाशुं एवं अपर सचिव पर्यटन श्रीमती सोनिका ने आयुक्त कुमाऊॅ मण्डल दीपक रावत से वीडियों कॉन्फ्रेसिंग के माध्यम से विस्तार से चर्चा की। इस अवसर पर कुमाऊॅ मण्डल के सभी जनपदों के जिलाधिकारी वीडियों कॉन्फेसिंग से जुडे़ रहें।
वीडियों कॉन्फ्रेसिंग के माध्यम से प्रमुख सचिव द्वारा कुमाऊॅ मण्डल से गढ़वाल को जोड़े जाने वाले पृथक सम्पर्क मार्गो, रोपवे निर्माण आदि के संबंध में मुख्य सचिव द्वारा दिये गये निर्देशों का हवाला देते हुये अवगत कराया कि प्रमुख रूप से काशीपुर-रामनगर-मौहान- बुआखाल मार्ग के चौड़ीकरण का प्रस्ताव तैयार किये जाने ज्योलीकोट-खैरना-कर्णप्रयाग मार्ग को दो लैन करने, खैरना-कैचीधाम वाईपास मार्ग निर्माण, भिक्यासैण-चौखुटिया मार्ग का निर्माण, सिंगल से डेढ़ लैन किये जाने, बदियाकोट-देवाल मार्ग का निर्माण, हरिद्वार पहुॅचने के लिए अफजलगढ़-नजीबाबाद ग्रीन फील्ड मार्ग का नव निर्माण के साथ ही टनकपुर-जौलजीवी मार्ग वाया पंचेश्वर रूपालीगाड में 20 किमी नई सड़क का निर्माण कराये जाने के प्रस्ताव तैयार किये जाने को कहा। इसके अलावा पर्वतमाला परियोजना के तहत रीठा साहिब पहुॅच हेतु लधिया नदी पर पुल एवं एप्रोच निर्माण का प्रस्ताव बनाये जाने के निर्देश दिये।
वीडियों कान्फ्रेसिंग में अपर सचिव पर्यटन सोनिका ने कुमाऊॅ क्षेत्र के धार्मिक स्थलों को जोड़े जाने हेतु सम्पर्क मार्गो के अलावा मानसखण्ड में वर्णित स्थलों का चयन करते हुये चम्पावत के पूर्णागिरी में रोपवे पिथौरागढ़-मुन्स्यारी-खलियाटॉप में रोपवे के साथ ही अल्मोड़ा में कसार देवी, दूनागिरी, कुक्कुछीना में रोपवे निर्माण के प्रस्ताव तैयार किये जाने को कहा। इधर वीडियों कॉन्फ्रेसिंग के माध्यम से आयुक्त कुमाऊॅ मण्डल दीपक रावत ने कुमाऊॅ के विभिन्न जनपदों में सड़क निर्माण पृथक एवं सम्पर्क मार्गो के निर्माण के प्रस्तावों की जानकारी उपलब्ध कराई। उन्होंने बताया कि गढ़वाल -कुमाऊॅ की कनेक्टीविटी बढ़ाने हेतु विभिन्न सड़क मार्गो को सिगंल से डबल लैन के साथ ही सम्पर्क मार्गो का सुधारीकरण दिया जाना आवश्यक है। उन्हांेने बताया कि अफजलगढ़ -नजीवाबाद वायपास मार्ग बनने से हरिद्वार पहुॅचने के लिए 20 किमी की दूरी कम हो जायेगी। इसी प्रकार पिथौरागढ़ में बॉया आंवलाघाट में 5 किमी सड़क निर्माण से गंगोलीघाट एवं पातालभुवनेश्वर मार्ग की दूरी भी कम हो सकेगी। इसके अलावा चम्पावत में टनकपुर-जौलजीवी मार्ग बॉया पंचेश्वर रूपालीगाड से बनाये से सड़क मार्ग की दूरी कम होने के साथ ही कालीनदी में रिवर राफ्टिंग, साहसिक पर्यटन गतिविधियों एवं एंगलिंग के शौकीन एंगुलरों को अच्छी सुविधायंे प्राप्त हो सकेंगी। उन्होंने कहा कि सभी जिलाधिकारियों एवं पर्यटन विकास अधिकारी मानस खण्ड का गहन अध्ययन करते हुये धार्मिक गतिविधियों में सम्बन्धित मन्दिरों को जोड़े जाने के प्रस्ताव तैयार कर कार्ययोजना बनायेंगे। उन्होंने मानसखण्ड कॉरिडोर को मूर्तरूप दिये जाने के लिए प्राथमिकता से कार्य किये जाने पर बल दिया


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